उत्तर प्रदेश फ़तेहपुर जिले में आज “विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस” के अवसर पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय में एक गोष्ठी का आयोजन किया गया जिसक अध्यक्षता मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा० राजीव नयन गिरि, द्वारा की गयी मुख्य अतिथि के रूप में प्रधानाचार्य अमर शहीद जोधा सिंह अटैया ठाकुर दरियांव सिंह चिकित्सा महाविद्यालय डा० राजेश कुमार मौर्या, विशिष्ट अतिथि के रूप में मुख्य चिकित्सा अधीक्षक जिला पुरुष / महिला चिकित्सालय डा० राजेश कुमार, के रूप में उपस्थित रहे हैं। इस कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुये मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने कहा कि विश्व मानसिक स्वास्थ्य की थीम “Access To Service-Mental Health In Catastrophes And Emergencies (सेवा में पंहुच-आपदाओं और आपातकाल में मानसिक स्वास्थ्य) पर कहा कि दुनिया में मानसिक समस्या बनती जा रही है डिप्रेशन और तनाव के शिकार लोग अक्सर लोग आत्महत्या जैसे कदम उठा लेते हैं इन समस्या के प्रति अधिक से अधिक लोगो को जागरूक करना इस थीम का मकसद है जिससे लोगों के मानसिक स्वास्थ्य सेवायें सही समय से आम जनमानस को सुलभ हो सके जिसमें आज भी लोग अभी भी अन्धविश्वास के घेरे में है जिससे उनको बाहर निकलना अति आवश्यक है। इसी कम में मुख्य अतिथि के रूप में प्रधानाचार्य जी ने कहा कि मानसिक रोग किसी को भी हो सकता है, मानसिक रोग को छिपाये नहीं, किसी भी प्रकार की मानसिक समस्या हो तो तत्काल मानसिक रोग चिकित्सक से सर्पक करना चाहिये मानसिक रोग की पहचान करना अतिआवश्यक है. मुख्यता देखा जा रहा है कि तेजी से बदलती जीवन शैली के कारण मानसिक स्वास्थ्य पर गम्भीर असर पड रहा है। परिवारों में मोबाइल के अत्यधिक उपयोग से दूरियां बढ़ती जा रही है. काम का बढ़ता दबाव, प्रतिस्पर्धा माहौल, सामाजिक और बढ़ते नशे की प्रवत्ति मानसिक रोगों को जन्म दे रही है हमसब को मिलकर आज के दिन यह शपथ लेनी होगी कि हम अपने जीवन शैली में बदलाव करने की आवश्यकता है। इसी कम में डा० रिचा मनोचिकित्सक, ने बताया कि देश में हर 10वाँ व्यक्ति मानसिक रोग से ग्रसित है. और आम जनमानस के नकरात्मक धारणा में उपरी हवा का चक्कर आदि से जोड़कर देखा जा रहा है, इलाज के उपरान्त आम जनमानस मनोचिकित्सक से सम्र्पक न करके झाड़ फूक पर विश्वास करते है। इसी कम में डा० राजेन्द्र कुमार वर्मा, नोडल अधिकारी जिला मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रम द्वारा बताया गया कि किसी भी व्यक्ति को मानसिक रोग से पीडित व्यक्ति दिखे तो उसकी मदद के लिये हेल्प लाइन नम्बर-14416 पर किसी भी समय सम्र्पक कर सकते है। रिकी लाकरा, नैदानिक मनोवैज्ञानिक, जिला मानसिक स्वास्थ्य कार्यकम, थीम के अनुसार मानसिक स्वास्थ्य सेवाओं की पंहुच प्राकृतिक आपदाओं और आपातकाल में मानसिक स्वास्थ्य के लिये समस्त स्कूलों, कोचिंग, गावों के लोगों को राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रम के अन्तर्गत लाभ पहुँचाना ही लक्ष्य है।
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